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विद्युत विभाग:नियमावली के नियमो की उड़ाई घज्जिया:2 वर्ष के अंदर सेवानिवृत्त होने वाले लिपिक औऱ श्रमिको को किया जिले से बाहर तबादला: चहेते 10-10 वर्ष से जमे

लखनऊ 12 जून: तबादला एक्सप्रेस पार्ट-2

अशोक कुमार चौरसिया,मुख्य अभियंता, अयोध्या क्षेत्र की मनमानियों के चर्चे,

भ्रष्टाचार में लिप्त मुख्य अभियंता अशोक कुमार चौरसिया,

निगम मुखिया रिया केजरीवाल के चहेते अभियंताओ की लिस्ट में अशोक कुमार चौरसिया,

मुख्य अभियंता ने सरकार की तबादला नीति की उड़ाई घज्जियाँ,

मुख्य अभियंता के चहेते लिपिक योगेश सैनी,चकरेश,लाल चंद वर्मा 10-20 वर्षो से जमे एक ही कार्यालय में,

तीनो लिपिक मुख्य अभियंता के खासमखास,नही किया तबादला,

2 वर्ष के अंदर सेवानिवृत्त होने वाले बिजलीकर्मियों का किया तबादला,

चतुर्थ श्रेणी कार्मिक को जिले से बाहर किया तबादला,

चतुर्थ श्रेणी कार्मिक 2 वर्ष में होने वाले हैं सेवानिवृत्त,

सरकार की तबादला नीति के खिलाफ अपनी नीति पर चलते मुख्य अभियंता,

सरकार द्वारा तबादला नियमावली में कार्मिकों के तबादले करने के नियम को दर्शाते हुए तबादला नीति बनाई कि कोई अधिकारी तबादले में मनमानी नही कर सके।
कोई कर्मचारी जनपद में,मंडल में,एक ही कार्यालय में कितने वर्षों से तैनात है उसकी तैनाती अवधि के हिसाब से निश्चित संख्या में कर्मचारियों औऱ अधिकारियो के तबादले का खाका पूर्व प्रचलित नियमो केतारतम्य में हर वर्ष तबादला करने के आदेश जारी होते है।
2 वर्ष के अंदर सेवानिवृत्त होने वाले कर्मचारियों/अधिकारियों औऱ चतुर्थ श्रेणी कार्मिकों को सरकार ने तबादला नीति में ढील दी गई है।
परन्तु कुछ अधिकारी इस तबादला नीति में भी अवैध धन अर्जित करने औऱ मनमानियों से बाज़ नही आते।
ख़ास तौर पर विद्युत विभाग में इस तरह के मामले ज्यादा देखने को मिलते है। विद्युत विभाग में कुछ अधिकारी बेलगाम घोड़े की तरह तबादला एक्सप्रेस चलते रहते है जिसमे अपने चहेतों को विशेष छूट देते हुए तबादला नीति की खुलेआम घज्जियाँ उड़ाते है।
मध्यांचल विद्युत वितरण निगम में एक मुख्य अभियंता सरकार की तबादला नीति को दरकिनार कर अपनी नीति से तबादला एक्सप्रेस चलाने के लिए चर्चाओं में है।
अयोध्या मंडल के मुख्य अभियंता द्वारा कर्मचारियों का तबादला कर कई आदेश जारी किए है जिसमे कई ऐसे लिपिक औऱ कई चतुर्थ श्रेणी कार्मिकों है जो 2 वर्ष के अंदर सेवानिवृत्त होने वाले है।
वही मुख्य अभियंता के चहेते लिपिक जो 10-15 वर्षो से एक ही कार्यालय में तैनात है उनका तबादला नही किया जिसकी वजह से अयोध्या मंडल में चर्चाओं का बाज़ार गर्म है।
विभागीय सूत्रों की माने तो मुख्य अभियंता, अयोध्या क्षेत्र ने निगम मुखिया की चापलूसी में एक तरफ से उन कर्मचारियों का तबादला किया जो निजीकरण के ख़िलाफ़ है।
निगम मुखिया के निर्देश पर निजीकरण के ख़िलाफ़ कड़े कर्मचारियों/अधिकारियों के उत्पीड़न के लिए सरकार की तबादला नीति का उल्लंघन किया वहीं अपने चहेते लिपिकों को अपनी गोद मे बिठा लिया।

पड़ताल जारी है……..

Prabandh Sampadak chandrashekhar Singh

Prabhand Sampadak Of Upbhokta ki Aawaj.

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